‘हर घर तिरंगा अभियान’ के तहत 13 से 15 अगस्त तक देश भर में 20 करोड़ घरों पर राष्ट्रीय झंडा तिरंगा फहराने का लक्ष्य है। इससे निश्चित रूप से लोगों में देशभक्ति की भावना का संचार होगा, क्योंकि तिरंगा देश की आन, बान और शान है। इसकी खातिर हमारे वीर प्राण देते हैं। हर घर तिरंगा अभियान हमें उन वीरों की भी याद दिलाएगा, जिन्होंने स्वतंत्र भारत के लिए एक ध्वज का सपना देखा था।
उल्लेखनीय है कि गृह मंत्रालय ने भारतीय ध्वज संहिता, 2002 में संशोधन किया है। अब पालिएस्टर के बने राष्ट्रीय ध्वज या मशीन से बने राष्ट्रीय ध्वज को फहराने की अनुमति दी गई। इसके साथ ही दिन और रात में भी राष्ट्रीय ध्वज फहराया जा सकेगा। पहले प्रविधान था कि तिरंगा केवल सूर्योदय और सूर्यास्त के बीच ही फहराया जा सकता था। अब किसी भी दिन सार्वजनिक, निजी संगठनों या शैक्षणिक संस्थान द्वारा राष्ट्रीय ध्वज फहराया जा सकता है, बशर्ते वे राष्ट्रीय ध्वज की गरिमा और सम्मान को नियंत्रित करने वाले नियमों का पालन कर रहे हों।
यह हमें गौरवान्वित महसूस कराता है। हमारा राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा देश के सम्मान एवं गौरव का पवित्र प्रतीक है। इसके तीन रंग हमें स्वतंत्रता के लिए वीरों के त्याग और संघर्ष की याद दिलाते हैं, विश्वशांति का पाठ पढ़ाते हैं और आजादी के संग्राम में अपना सबकुछ न्योछावर कर देने वाले सेनानियों के बलिदान का मान रखते हुए देश को निरंतर प्रगति के पथ पर अग्रसर रखने और समृद्ध भारत के निर्माण के लिए प्रेरित और प्रोत्साहित करते हैं।