सीएमओ डॉ. अरुण श्रीवास्तव के अनुसार पता चला है कि अर्जेंटीना से आया संक्रमित पर्यटक साउथ गेट स्थित एक होटल में ठहरा हुआ है. ताजमहल का भ्रमण करने के बाद, उन्होंने फिर दिल्ली या जयपुर की यात्रा की।अर्जेंटीना के जिस पर्यटक में कोरोना वायरस की पुष्टि हुई थी, वह तबीयत खराब होने के कारण स्वास्थ्य विभाग तक नहीं पहुंच सका. जांच के दौरान टीम को पता चला कि वह अपनी पत्नी के साथ आया था। ताजमहल के दक्षिणी गेट के पास जिस होटल में ठहरे हुए थे, उसे देखकर वे वहां से निकल गए। इसके बाद पर्यटक दिल्ली या जयपुर की ओर चला गया।
ताजमहल के पूर्वी गेट पर 26 दिसंबर को विदेशी पर्यटक का नमूना लिया गया था। पर्यटक ने अपने देश का नाम अर्जेंटीना और उम्र 40 वर्ष दर्ज कराई थी। मोबाइल नंबर भी दिया था। आरटीपीसीआर की जांच में पर्यटक में कोरोना की पुष्टि होने के बाद स्वास्थ्य विभाग ने उसकी तलाश शुरू की। स्वास्थ्य विभाग के कोविड हेल्प डेस्क पर पर्यटक के संबंध में पर्याप्त जानकारी नहीं मिल पाई। उसका कोई पहचानपत्र नहीं लिया गया था। जो नंबर पर्यटक की ओर से दिया गया था, वह गलत निकला। इसके बाद सीएमओ ने होटल संचालकों व एसोसिएशन को पत्र लिखकर पर्यटक के संबंध में जानकारी मांगी। पत्र में कोविड हेल्प डेस्क पर लिखा गया पर्यटक का नाम भी साझा किया गया।
सीएमओ डॉ. अरुण श्रीवास्तव ने बताया कि होटल संचालकों व गाइडों से मांगी गई जानकारी पर पता चला कि अर्जेंटीना का संक्रमित पर्यटक अपनी पत्नी के साथ दक्षिण गेट स्थित एक होटल में ठहरा था। ताजमहल देखने के बाद वह दिल्ली या जयपुर की तरफ चला गया। होटल में पर्यटक का जो नाम लिखा था, वह भी कुछ मिल रहा था। उसी को संदिग्ध मानते हुए पासपोर्ट की प्रति होटल संचालक से लेकर जानकारी दूतावास को भेज दी गई है। जिससे पर्यटक को चिह्नित कर लिया जाए।
होटल के स्टाफ व बाकी पर्यटकों की हुई जांच
स्वास्थ्य विभाग की टीम ने होटल के सभी कर्मचारियों और होटल में ठहरे पर्यटकों का कोरोना वायरस टेस्ट किया. होटल में ऑस्ट्रेलिया और जापान के पर्यटक ठहरे हुए थे, उनकी भी जांच की गई। आसपास के दो और होटलों के स्टाफ और उनमें ठहरे पर्यटकों का भी टेस्ट किया गया।