पाकिस्तान में ईशनिंदा के आरोप में श्रीलंकाई नागरिक प्रियांथा कुमारा की लिंचिंग मामले में 6 लोगों को मौत की सजा सुनाई गई है। पंजाब प्रांत में लाहौर की एंटी टेररिज्म कोर्ट ने सोमवार 7 अन्य आरोपियों को उम्रकैद और बचे हुए 76 आरोपियों को दो-दो साल कैद की सजा सुनाई। इस मामले में कुल 89 लोगों को दोषी ठहराया गया है।
लाहौर की कोट लखपत जेल में जज नताशा नसीम ने बंद कमरे में सुनवाई की। उन्होंने हर दिन के आधार पर संदिग्धों की मौजूदगी में फैसले सुनाया। जज ने 9 किशोर पर फैसला नहीं सुनाया, जिनकी सुनवाई अभी बाकी है।
प्रियांथा : पैगंबर मोहम्मद के अपमान के आरोप में की थी हत्या
पिछले साल पाकिस्तान के सियालकोट में एक फैक्ट्री के मजदूरों ने अपने ही मैनेजर प्रियांथा कुमारा को बीच सड़क पर जिंदा जला दिया था। भीड़ ने प्रियांथा पर पैगंबर मोहम्मद के अपमान करने का आरोप लगाया था। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर काफी वायरल हुआ था।
2010 में भी हुई थी ऐसी घटना
इस घटना के बाद पाकिस्तान के साथ दुनियाभर के लोगों ने विरोध दर्ज कराया था। जिसके बाद पाकिस्तान सरकार
ने कड़ा एक्शन लेते हुए कई लोगों को गिरफ्तार किया था। सियालकोट में 2010 में भी इसी तरह की
घटना हुई थी। तब भीड़ ने दो भाइयों को लुटेरे बताकर उन्हें जिंदा जला दिया था। इसके भी
वीडियोज सामने आए थे।
पाकिस्तान में ईसाइयों, हिंदुओं और हजारा मुसलमानों पर ईशनिंदा के आरोप लगते रहे हैं। पाकिस्तान के मानवाधिकार कार्यकर्ताओं
के मुताबिक ईशनिंदा के आरोप में अब तक 70 से अधिक लोगों को मारा जा चुका है। हत्या सिर्फ
उनकी ही नहीं हुई है जिन पर आरोप लगे, बल्कि ईशनिंदा के खिलाफ आवाज उठाने वालों को भी खामोश
कर दिया गया।
दुनियाभर के लोगों ने विरोध दर्ज कराया था। जिसके बाद पाकिस्तान सरकार ने कड़ा एक्शन लेते हुए कई लोगों
को गिरफ्तार किया था। सियालकोट में 2010 में भी इसी तरह की घटना हुई थी। तब भीड़ ने
दो भाइयों को लुटेरे बताकर उन्हें जिंदा जला दिया था। इसके भी वीडियोज सामने आए थे।