18 मई को श्रद्धा वॉकर को गला दबाकर मारने के बाद आफताब पूनावाला अगले 10 घंटे तक बाथरूम में शावर चलाकर उसकी लाश के टुकड़े-टुकड़े करता रहा। पुलिस के मुताबिक, फिर 35 टुकड़ों को अच्छे से धोया और पॉलिथीन में भरकर फ्रिज में रख दिया। जोमैटो से खाना मंगाया, खाना खाया, बीयर पी और नेटफ्लिक्स देखते हुए सो गया।
आफताबने मुंबई पुलिस को भी बेफकूफ बना दिया
आरोप ये भी है कि आफताब 18 दिन तक महरौली के जंगल में टुकड़े फेंकता रहा। श्रद्धा का फोन फेंक दिया, अपना OLX पर बेच दिया। फ्लैट में खून के धब्बों को ऐसे केमिकल से धोया कि कोई सबूत न मिले। मुंबई पुलिस को भी बेफकूफ बना दिया। इतनी तैयारी करने वाले शख्स को कभी नहीं लगा था कि वो पकड़ा जाएगा। अब वो पकड़ा गया है, लेकिन सवाल उठ रहे हैं कि न मर्डर वेपन मिला, न ही श्रद्धा की लाश का सिर। आफताब अपने कबूलनामे से पलट गया तो क्या होगा?
इसके जवाब में UP के पूर्व DGP विक्रम सिंह कहते हैं कि आफताब खुद अपना डेथ वॉरंट साइन करके गया है। अगर उसे लगता है कि बॉडी को टुकड़ों में काटकर गायब करने और मर्डर वेपन छिपाने से वह बच जाएगा, तो वह बड़ी गलतफहमी में है। उसके खिलाफ ऐसे सबूत हैं, जिससे उसे फांसी के फंदे तक पहुंचाया जा सकता है।
पुलिस 10 दिन की कस्टडी चाह रही थी
श्रद्धा मर्डर केस में पुलिस को कोर्ट से आफताब की 5 दिन की कस्टडी और मिल गई है। हालांकि, पुलिस 10 दिन की कस्टडी चाह रही थी। दिल्ली पुलिस सबूत जुटाने के लिए आफताब को उत्तराखंड और हिमाचल भी लेकर जाएगी। वहीं पुलिस को आफताब के नार्को टेस्ट कराने की भी मंजूरी कोर्ट से मिल गई है।
पुलिस सूत्रों के मुताबिक अब तक पुलिस को श्रद्धा मर्डर केस से जुड़े 11 अहम सबूत और गवाह मिले हैं, जिनमें से ज्यादा परिस्थितिजन्य सबूत हैं। अभी तक मर्डर वेपन या फिर बॉडी का सिर नहीं मिला है।
गुरुवार को आरोपी आफताब को महरौली के उसी फ्लैट लाया गया जहां श्रद्धा का मर्डर किया गया था। पुलिस के साथ फोरेंसिक टीम भी पहुंची और इस टीम को संजीव गुप्ता लीड कर रहे थे। फोरेंसिट टीम ने घंटों लगाकर फ्लैट के कोने-कोने से सबूत जुटाए। क्राइम सीन पर टीम को सिर्फ एक जगह किचन में खून के निशान मिले हैं।