प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस साल के आखिरी ‘मन की बात’ कार्यक्रम में भारत को स्वास्थ्य क्षेत्र में मिली दो प्रमुख उपलब्धियों की सराहना की। उन्होंने कहा कि इन उपलब्धियों ने न केवल दुनिया का ध्यान खींचा है, बल्कि देशवासियों को भी गर्व महसूस कराया है। पहली उपलब्धि मलेरिया के खिलाफ लड़ाई से जुड़ी है, जो आजादी के बाद से देश के लिए एक बड़ी स्वास्थ्य चुनौती रही है। अब इसके मामलों और इससे होने वाली मौतों में काफी कमी आई है। दूसरी उपलब्धि कैंसर के खिलाफ जंग में मिली प्रगति से संबंधित है।
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स्वास्थ्य : मलेरिया का खतरा 80 प्रतिशत तक घटा
प्रधानमंत्री मोदी ने मलेरिया की रोकथाम और मृत्यु दर में कमी की सफलता की सराहना करते हुए कहा कि मलेरिया पिछले 4000 वर्षों से मानवता के लिए एक गंभीर चुनौती रहा है। आजादी के समय भी यह भारत की सबसे बड़ी समस्याओं में से एक था। मलेरिया, एक महीने से लेकर पांच साल तक के बच्चों की जान लेने वाली संक्रामक बीमारियों में तीसरे स्थान पर है। आज गर्व के साथ कहा जा सकता है कि देशवासियों ने इस चुनौती का मजबूती से सामना किया है।
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कैंसर से जंग हुई आसान
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कैंसर को लेकर किए गए प्रयासों की भी खूब तारीफ की। द लैंसेट के अध्ययन रिपोर्ट की जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि भारत में अब समय पर इस रोग का इलाज शुरू होने का संभावना पहले की तुलना में काफी बढ़ गई है, जो इस बीमारी के कारण होने वाली मृत्युदर को कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। प्रधानमंत्री ने कहा, कैंसर के इलाज को आसान बनाने में आयुष्मान भारत योजना की भूमिका भी काफी महत्वपूर्ण रही है। इसकी मदद से कैंसर के 90 प्रतिशत मरीज समय पर इलाज प्राप्त कर रहे हैं।
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