मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ने अमेरिका दौरे से लौटने के बाद 14 सितंबर को तमिलनाडु मंत्रिमंडल में फेरबदल के संकेत दिए थे। इस दौरे का उद्देश्य राज्य में अधिक से अधिक निवेश आकर्षित करना था, जिसके तहत तमिलनाडु सरकार ने 18 कंपनियों के साथ 7,616 करोड़ रुपये के समझौतों पर हस्ताक्षर किए। स्टालिन ने दो बार मंत्रिमंडल में बदलाव के संकेत दिए, जिससे राजनीतिक हलकों में अटकलें शुरू हो गईं।
पार्टी के कई उम्मीदवारों और पदाधिकारियों द्वारा खेल मंत्री उदयनिधि स्टालिन के लिए सरकार में एक बड़ी भूमिका की उम्मीद की जा रही है। यह अटकलें तब और मजबूत हो गईं जब मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि कोई भी निराश नहीं होगा और बदलाव निश्चित रूप से होगा। माना जा रहा है कि यह फेरबदल उदयनिधि को उपमुख्यमंत्री के पद पर पदोन्नत करने की दिशा में एक कदम है।
18 सितंबर को उदयनिधि स्टालिन ने खुद इस पर बयान दिया, जिसमें उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री एमके स्टालिन ही तय करेंगे कि उन्हें उपमुख्यमंत्री बनाया जाएगा या नहीं। उदयनिधि के इस बयान के बाद, उनकी पदोन्नति की संभावनाएं और अधिक मजबूत हो गईं, और तमिलनाडु की राजनीति में हलचल मच गई।
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19 सितंबर को तमिलनाडु के मंत्री थामो अनबरसन ने इस पर अंतिम मुहर लगाते हुए कहा कि उदयनिधि स्टालिन को उपमुख्यमंत्री के रूप में पदोन्नत किया जाएगा। यह घोषणा पार्टी और राज्य सरकार में बड़े बदलावों का संकेत देती है, जिससे उदयनिधि की भूमिका और अधिक महत्वपूर्ण हो जाएगी।