अब महाराष्ट्र में भी आधार कार्ड से वोटर आईडी कार्ड को लिंक किया जएगा। इसको लेकर चुनाव आयोग ने तारीख का भी एलान कर दिया है। महाराष्ट्र के मुख्य चुनाव अधिकारी (सीईओ) श्रीकांत देशपांडे ने कहा है कि इसकी प्रक्रिया राज्यभर में एक अगस्त से शुरू होगी।
उन्होंने कहा कि मतदाताओं की पहचान स्थापित करने और मतदाता सूची में प्रविष्टियों के प्रमाणीकरण के लिए यह कदम उठाया जा रहा है। मतदाता पहचान पत्र को आधार कार्ड से जोड़ने पर एक से अधिक निर्वाचन क्षेत्रों में या एक ही निर्वाचन क्षेत्र में एक से अधिक बार एक ही व्यक्ति के नाम के पंजीकरण की पहचान आसानी से हो सकेगी। भारत निर्वाचन आयोग एक अगस्त से पूरे राज्य में मतदाता पहचान पत्र को आधार कार्ड से जोड़ने का अभियान शुरू करेगा।
आधार डाटा को इलेक्ट्रॉनिक इलेक्टोरल फोटो पहचान पत्र डाटा के साथ जोड़ने से मतदाताओं का व्यक्तिगत और निजी डाटा एक वैधानिक प्राधिकरण को उपलब्ध होगा और यह मतदाताओं पर एक सीमा लागू करेगा। यानी मतदाताओं को अब अपने संबंधित आधार विवरण प्रस्तुत करके निर्वाचक पंजीकरण अधिकारी (प्रतिवादी संख्या दो) के समक्ष अपनी पहचान स्थापित करनी होगी।
सरकार के चुनाव सुधार कार्यक्रम का हिस्सा
मौजूदा केंद्र सरकार के चुनाव सुधार कार्यक्रम के तहत निर्वाचन आयोग ने आधार कार्ड को मतदाता पहचान पत्र के जरिए इलेक्टोरल डाटा के साथ जोड़ने का प्रोजेक्ट शुरू किया है। इसका मकसद एक ही व्यक्ति के नाम से कई वोटर आईडी को खत्म करना है। साथ ही चुनावी प्रक्रिया को त्रुटि रहित बनाना है। इसके लिए बने संशोधित कानून के मुताबिक इलेक्टोरल रजिस्ट्रेशन ऑफिसर किसी भी व्यक्ति से उसका आधार नंबर मांग सकता है। हालांकि इससे जुड़े एक मामले की सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने साफ किया था कि आधार कार्ड या नंबर सिर्फ पहचान है का दस्तावेज है, लेकिन ये नागरिकता का आधार नहीं है।
विपक्षी दल कर रहे लगातार विरोध
आधार और वोटर आईडी को लिंक करने का लगभग सभी विपक्षी दल लगातार विरोध कर रहे हैं। कांग्रेस ने संसद के दोनों सदनों में इसे लेकर अपना पुरजोर विरोध दर्ज कराया है। विपक्षी दलों का कहना है कि आधार व्यवस्था में कई खामियां हैं और ऐसे में अगर वोटर आईडी कार्ड को आधार से लिंक किया जाता है तो इसका नुकसान गरीब मतदाताओं को होगा। वहीं यह लोगों के निजता के अधिकार का भी हनन करता है। कांग्रेस के अलावा डीएमके, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी, तृणमूल कांग्रेस, शिवसेना और बसपा ने भी आधार से वोटर आईडी लिंक कराने का पुरजोर विरोध किया है।