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    युद्ध खिंचने से पुतिन की बौखलाहट बढ़ी

    यूक्रेन पर रूस के हमले 27 दिन बीत चुके हैं। इतने दिन बाद भी रूसी सेना को जमीनी रास्ते से आगे बढ़ने में संघर्ष करना पड़ रहा है। उसे दक्षिण यूक्रेन में लगातार यूक्रेन की सेना से जवाब मिल रहा है। युद्ध लंबा खिंचने और वैश्विक मंचों पर दरकिनार किए जाने से रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन की बौखलाहट बढ़ रही है।

    अमेरिकी एक्सपर्ट्स आशंका जता रहे हैं कि पुतिन अब छोटे परमाणु हमले कर सकते हैं। वे परमाणु हमले की चेतावनी दे चुके हैं और अपनी परमाणु टुकड़ी को अलर्ट पर रखा है। रूसी सेना ने न्यूक्लियर पॉवर प्लांट पर हमले किए हैं।

    युद्ध खिंचने से बेल्जियम में नाटो की बैठक


    इस मसले पर नाटो की इसी हफ्ते नाटो की बेल्जियम के ब्रसेल्स में बैठक होने जा रही है, जिसमें

    अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन भी शामिल होंगे। बैठक में इस बात पर भी चर्चा होगी कि अगर रूस केमिकल

    , बायोलॉजिकल, साइबर या परमाणु हथियारों की तरफ जाता है, तो उसे कैसे जवाब दिया जाए।

    वैसे दूसरे विश्व युद्ध के समय जब अमेरिका ने जापान के हिरोशिमा पर हमला किया था तब भी रूस के

    पास ज्यादा क्षमता थी। आज अमेरिका के पास हिरोशिमा पर गिराए बम से 1000 गुना, तो रूस के

    पास 3000 गुना क्षमता के एटम बम है।

    रूसी सैनिक पहले से कर रहे तैयारी


    एक्सपर्ट्स का कहना है कि रूसी सैनिक पहले से ही परमाणु हमले की तैयारी कर रहे हैं। पुतिन हमले

    के लिए न्यूक्लियर हथियारों के जखीरे से अलग तरीके के एस्केलेटरी विकल्प का चुनाव कर सकते हैं। इसकी संभवना

    कम ही है, लेकिन हमले की आशंका से इनकार नहीं किया जा।

    पुतिन यूक्रेनी सैनिकों पर परमाणु हमले की बजाय किसी खाली जगह का चुनाव भी कर सकते हैं। रूस घातक

    हमलों का संकेत देने के लिए उत्तरी सागर के एक सुदूर हिस्से पर एक बम विस्फोट भी कर चुका है

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