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    मुंबई के सामने पंजाब की चुनौती आज

    मुंबई के सामने पंजाब मुंबई इंडियंस बुधवार, 13 अप्रैल को पुणे के महाराष्ट्र क्रिकेट एसोसिएशन स्टेडियम (MCA) में पंजाब किंग्स से भिड़ेगी। यह मैच शाम 7:30 बजे से शुरू होगा। मुंबई की बात करें तो धीमी शुरुआत के लिए मशहूर यह टीम इस बार भी अपने पहले चारों मुकाबले गंवा चुकी है। दूसरी तरफ पंजाब ने 4 में से 2 मुकाबले जीते हैं। तीसरी जीत तेवतिया ने अंतिम दो गेंदों में 2 छक्के मारकर PBKS से छीन ली थी। आज के मुकाबले को जीतकर दोनों ही टीमें लय में लौटने का प्रयास करेगी।

    मुंबई के सामने पंजाब : तेवतिया के तूफान को भुलाकर मैदान पर उतरेगी पंजाब​​​​

    सीजन की शुरूआत में बेंगलुरु के खिलाफ 205 रनों का विशाल टारगेट चेज कर पंजाब ने कमाल कर दिया था। फिर दूसरे मुकाबले में उसे कोलकाता से हार और चेन्नई के खिलाफ जीत मिली। चौथे मैच में गुजरात के सामने 190 रनों के टारगेट का बचाव करने उतरी पंजाब शुभमन गिल और तेवतिया की आंधी में मैच गंवा बैठी। ऐसे में पंजाब किंग्स मुंबई के खिलाफ अपने गेंदबाजी आक्रमण में कुछ बदलाव कर सकती है। रोहित शर्मा की ही तरह पंजाब के कप्तान मयंक अग्रवाल खराब फॉर्म से जूझ रहे हैं। उनकी विफलता टीम को अच्छी शुरुआत नहीं दे पा रही। देखना दिलचस्प होगा कि मुंबई के खिलाफ लियाम लिविंगस्टोन के साथ दूसरा कौन बल्लेबाज लंबी पारी खेलता है।

    सूर्या के अलावा बाकी खिलाड़ी नहीं बिखेर पा रहे चमक

    मुंबई इंडियंस ऑक्शन के बाद से बेहद कमजोर नजर आई है। पंड्या ब्रदर्स, ट्रेंट बोल्ट, राहुल चाहर के जाने से टीम का बैलेंस बिगड़ा है। गेंदबाजी आक्रमण भी कुछ खास नजर नहीं रहा है। जसप्रीत बुमराह पहले की तरह बल्लेबाजों में खौफ नहीं पैदा कर पा रहे और उनकी गेंदों पर काफी रन बन रहे हैं। पर पंजाब के खिलाफ जसप्रीत का रिकॉर्ड शानदार रहा है।

    रोहित शर्मा बतौर कप्तान और बतौर बल्लेबाज चारों मुकाबलों में फ्लॉप रहे हैं। अगर MI को मुकाबला जीतना है तो रोहित को अंत तक खेलना होगा। सूर्यकुमार यादव लगातार दो पारियों से बैटिंग में अकेले पड़ रहे हैं और दूसरे छोर

    से रन ना आने के कारण टीम का टोटल कम रह जाता है। ऐसे हालात में रोहित और सूर्या मिल

    कर मुंबई को बड़े स्कोर तक पहुंचा सकते हैं।

    मुंबई को युवाओं से उम्मीद

    तिलक वर्मा और डेवाल्ड ब्रेविस जैसे युवा युवा खिलाड़ियों की बल्लेबाजी में निरंतरता का अभाव नजर आया है। यहां

    पर मुंबई के कोचिंग स्टाफ की भूमिका महत्वपूर्ण हो जाती है। उन्हें बताना चाहिए कि एक मुकाबले में खेली

    गई बड़ी पारी और बाकी मुकाबलों में जल्दी आउट हो जाना एक अच्छे खिलाड़ी की पहचान नहीं है। पिछले

    मुकाबले से पहले महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर मुंबई के खिलाड़ियों को टिप्स देते नजर आए थे लेकिन शायद खिलाड़ी उनकी

    बातों पर अमल नहीं कर सके। आज के मुकाबले में मुंबई के फैंस टीम से वापसी की उम्मीद करेंगे

    रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के खिलाफ मुंबई ने सिर्फ दो विदेशी खिलाड़ियों को मौका दिया था। देखना दिलचस्प होगा कि

    आज इस मामले में वे क्या रणनीति अपनाते हैं।

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